पत्रकार कितनी जिम्मेदारी निभा कर भी लोगों की नजरों में बना रहता है मूर्ख
*एक पत्रकार कितनी जिम्मेदारी निभा कर भी लोगो के नजरो में बना रहता है मुर्ख*"
अटल बिहारी शर्मा÷
हमारे देश की जनता की सोच कितनी अच्छी है ये इसी बात से अंदाजा लगाया जा सकता है जब किसी इंसान की जरूरत चौकी थाने पर जाने की पड़ती है और वहां उसकी सुनवाई नही होती तब वो एक पत्रकार से संपर्क साध कर न्याय की उम्मीद लेकर आता है पर पत्रकार को देने के लिए उसके पास पेट्रोल का भी पैसा नही होता भले ही उसका दौड़ भाग करने में दस बीस हजार खर्च हो गए हों।
जब किसी इंसान को यातायात नियमों का उल्लंघन करने के लिए अच्छे खासे चालान किये जाते हैं तब वो आदमी एक पत्रकार से संपर्क करके चालान से बचने के उम्मीद के साथ मदद पत्रकार से मांगता है।
लेकिन वो भी पत्रकार को एक रूपये नही देता भले ही उसका चालान दस पांच हजार का क्यो न हो जाये।
जब किसी मरीज की अस्पताल में इलाज नही होता तब वो भी एक पत्रकार से शिकायत करने के लिए पत्रकार से मिलकर अपनी बात साझा करता है पर वो भी बीमारी का हवाला देकर पत्रकार को कुछ नही देता भले ही इलाज में लाखो रूपये खर्च हो जाये ऐसे तमाम कामो के लिए पत्रकार हर संभव प्रयास करके लोगो की मदद करता है और खबर के माध्यम से शासन-प्रशासन तक पीड़ित परिवार की बात पंहुचाता है।ताकी उनकी सुनवाई हो और पीड़ित को न्याय मिले पर बदले में एक पत्रकार को मिलता है ब्लैकमेल करने का आरोप झूठा मुकदमा दर्ज करने की धमकी दलाल बिकाऊ गोदी मीडिया और न जाने क्या क्या हमला भी हो जाता है मार भी पड़ जाती है सभी खतरो से खेल कर फिर भी अपनी कलम की मर्यादा कायम रख कर अपनी जान हथेली पर रख कर अपराध भ्रष्टाचार का पर्दाफाश करता रहता है।
ताकी देश हित समाज का कल्याण हो सके।
पत्रकार अपनी मेहनत की कमाई से अपना घर परिवार चलाता है पत्रकार का कोई फीस नही होता जबकी डाक्टर नारी पकड़ कर अपनी फीस लेता है वकील समस्याओ को सुन कर अपनी फीस लेता है यानी की ऐसे बहुत विभाग हैं जहा लोगो को फीस देने पड़ते हैं।इस लिए जो भी लोग पत्रकार से उम्मीद लगा कर पत्रकार से मदद लेते हैं पत्रकार से खबर पब्लिश करवाते हैं वो लोग मेहताना न दो तो कम से कम पत्रकार के बारे में नकारात्मक सोच भी न रखो एक पत्रकार का देन है की जन जन की बात शासन-प्रशासन तक पहुंचाता है और अपराध भ्रष्टाचार के साथ-साथ सिस्टम का भी कमी दिखा कर सरकार को सचेत करता रहता है कि देश के किसी भी नागरिक को कोई समस्या न हो।
मीडिया जगत को कमजोर करने की कोशिश की जा रही है इस लिए छोटे पत्रकार बड़े पत्रकार का हवाला देकर पत्रकार को दो गुटो में बांटा जा रहा है।
पत्रकार पत्रकार होता है वो छोटा बड़ा नही होता कलम कभी पहचान करके किसी के हाथ में नही जाती कलम कलम होती है।
*रिपोर्टर_लक्ष्मी गौतम न्यूज़ मऊ क्रांति*
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